नई दिल्ली। बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना के साथ द्विपक्षीय वार्ता के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को बड़ा एलान किया। जल्द ही बांग्लादेश से भारत इलाज करवाने आने वाले लोगों के लिए ई-मेडिकल वीजा सुविधा की शुरूआत की जाएगी।
‘भारत को दुनिया का फूड बास्केट बनाना है’
उन्होंने कहा, “हम मिलकर कोई ऐसा रोड मैप बना लें, जिसपर चलकर न केवल भारतीय कृषि और किसान का कल्याण हो सके बल्कि हम भारत को दुनिया का फूड बास्केट बना दें, दुनिया को अन्न खिलाएं, एक्सपोर्ट करें। किसान को हमें विज्ञान से जोड़ना है और इसके लिए कृषि विज्ञान केंद्र बहुत उपयोगी है।” केंद्रीय मंत्री ने कहा, “हमारे यहां 86 फीसदी किसान स्मॉल मार्जिनल फार्मर हैं। हमको खेती का मॉडल ऐसा बनाना पड़ेगा कि किसान एक हेक्टेयर तक की खेती में अपनी आजीविका ठीक से चला सकें।”
लाखों किसानों को होगा सीधा फायदा
इससे पहले, कृषि मंत्री ने शुक्रवार को नई दिल्ली स्थित कृषि भवन में विभिन्न राज्यों के कृषि मंत्रियों के साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक की। बैठक में देश में दलहन में आत्मनिर्भरता के लिए केंद्र और राज्य सरकार द्वारा सामूहिक प्रयासों एवं आगामी योजनाओं पर विस्तृत चर्चा हुई। बैठक में राज्यमंत्री रामनाथ ठाकुर और मंत्रालय के कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।
उन्होंने कहा कि खरीफ सीजन शुरू हो चुका है, ऐसे में राज्यों के
साथ चर्चा करके प्लानिंग करने का यह उपयुक्त समय है। भारत सबसे बड़ा दलहन उत्पादक, उपभोक्ता और आयात में अग्रणी देश है। 2023-24 के तीसरे अग्रिम अनुमान के अनुसार, देश में दलहन 270.14 लाख हेक्टेयर क्षेत्र को कवर करती हैं, जिसमें 907 किलोग्राम प्रति हेक्टेयर उत्पादकता पर 244.93 लाख टन उत्पादन होता है। यह 2015-16 की तुलना में 50 फीसदी ज्यादा है, मैं इस उपलब्धि को हासिल करने में मदद करने के लिए राज्यों के सामूहिक प्रयासों के लिए उन्हें धन्यवाद देता हूं, लेकिन हम और बहुत कुछ कर सकते हैं।