पाकिस्तान में शिया और सुन्नियों के बीच खतरनाक जंग,

पाकिस्तान में शिया और सुन्नी मुसलमानों के बीच जारी सांप्रदायिक हिंसा ने स्थिति को और गंभीर बना दिया है। हालिया घटनाओं में, उत्तरी पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के कुर्रम जिले में हिंसक झड़पों के कारण 300 से अधिक परिवार अपने घर छोड़कर भागने को मजबूर हो गए। पिछले कुछ महीनों में इस क्षेत्र में 150 से अधिक लोग मारे गए हैं, जिसमें शनिवार को हुई झड़पों में 32 लोगों की मौत भी शामिल है।

मुख्य कारण:
शिया और सुन्नी समुदायों के बीच हिंसा की वजह शिया काफिलों पर हुए हमले को बताया जा रहा है। दो दिन पहले इन काफिलों पर बंदूकधारियों ने हमला किया था, जिसमें 43 लोगों की मौत हो गई और कई गंभीर रूप से घायल हो गए। इसके जवाब में शिया समुदाय ने सुन्नी बहुल क्षेत्रों में हमला किया, जिसमें सैकड़ों घर और दुकानें नष्ट हो गईं।

स्थिति की गंभीरता:

  • हिंसा का प्रभाव: स्थानीय प्रशासन के मुताबिक, हिंसा में कई लोगों की जान गई और हजारों लोग विस्थापित हो गए।
  • सुरक्षा की कमी: अफगानिस्तान की सीमा से लगे इस क्षेत्र में सुरक्षा का अभाव है, और तालिबान का प्रभाव भी स्थिति को और खराब कर रहा है।
  • सरकारी हस्तक्षेप: प्रशासन ने पुष्टि की है कि संघर्ष को नियंत्रित करने के प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन समुदायों के बीच तनाव अभी भी कायम है।

पाकिस्तान का यह संकट न केवल सांप्रदायिक असहिष्णुता का परिणाम है, बल्कि इसके सामाजिक और राजनीतिक ताने-बाने पर भी गहरा प्रभाव डालता है।

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